शुक्रवार, 31 अगस्त 2018

माइग्रेन ( आधाशीशी )

🌹✍🏻    माइग्रेन ( आधाशीशी )  ✍🏻🌹

जासु कृपा कर मिटत सब आधि,व्याधि अपार

तिह प्रभु दीन दयाल को बंदहु बारम्बार

🌳🌺महिला संजीवनी 🌺🌳

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माइग्रेन ( आधाशीशी )

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भीमसेननी कपूर चने के बराबर लेकर मुनक्का में लपेट कर गोली बना लें इसको सूर्योदय से एक घन्टा पहले मरीज को पानी से निगलवा दें ( चबाकर न खायें ) फिर सूर्योदय हो जाने पर 10ग्राम सूखी धनिया को मिश्री के साथ पीसकर पानी डालकर घोट लें व पिलायें !! ऐसा एक दिन छोड़कर दूबारा प्रयोग करा दें ! रोग ठीक हो जायेगा

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किसी को भी बाल उगाने की दवा , झड़ने की दवा , गठियावाय , साइटिका , सेक्स संमस्या , शुगर, bp , नीद न आना , हैड्रोशील , हर्निया , पथरी कही भी हो , दाद खाज खुजली , लिकोरिया , दमा , अस्थमा की दवा मंगाने के लिए संपर्क करे ।
7985817113👌👌👌👌👍👍👍👍👍
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🌳🕉🌺महिला संजीवनी 🌺🕉🌳
गुरुवेंद्र सिंह शाक्य
जिला -एटा , उत्तर प्रदेश
9466623519
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शनिवार, 21 जुलाई 2018

गाय के पेट में प्लास्टिक 

🌹✍🏻 गाय के पेट में प्लास्टिक      ✍🏻🌹

जासु कृपा कर मिटत सब आधि,व्याधि अपार

तिह प्रभु दीन दयाल को बंदहु बारम्बार

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गाय के पेट में प्लास्टिक -
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अब गाय के पेट में से प्लास्टिक पौलिथिन निकलने के लिए पेट फाड़ने की जरूरत नहीं..

गाय के पेट से प्लास्टिक पौलिथिन को समाप्त करने का सफल उपचार➖

सामग्रीः -
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100 ग्राम सरसों का तेल,
100 ग्राम तिल का तेल,
100 ग्राम नीम का तेल
और
100 ग्राम अरण्डी का तेल..

विधिः -
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इन सबको खूब मिलाकर
500 ग्राम गाय के दूध की बनी छांछ में डालें
तथा
50 ग्राम फिटकरी,
50 ग्राम सौंधा नमक पीस कर डालें।
ऊपर से 25 ग्राम साबुत राई डाले।
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➖यह घोल तीन दिन तक पिलायें और साथ में हरा चारा भी दें।
ऐसा करने से गाय जुगाली करते समय मुहं से पौलिथिन निकालती है। कुछ ही दिनों में सारी पौलिथिन बाहर होगा।
यह उपचार सफल सिद्ध हो रहा है
आज भी हजारों गौमाता पोलिथिन खाने से मर जाती है और आपके एक शेयर से हम हजारों गौमाता की जान बचा सकते हैं ।

आगे भी शेयर करे गौ माता के लिये
और
इसका प्रयोग करे

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गुरुवेंद्र सिंह शाक्य
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बुधवार, 18 जुलाई 2018

रसोई में स्वास्थ्य !*

☝स्वस्थ रहे , निरोगी रहे ,  तंदुरस्त रहे...🙏पढे और शेर करे...⬇
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                *रसोई में स्वास्थ्य !*

🍌 नमक केवल सेन्धा प्रयोग करें। थायराइड, बी पी, पेट ठीक होगा।
🍎 कुकर स्टील का ही काम में लें। एल्युमिनियम में मिले lead से होने वाले नुकसानों से बचेंगे।
🌽 तेल कोई भी रिफाइंड न खाकर, केवल तिल्ली, सरसों, मूंगफली, नारियल प्रयोग करें। रिफाइंड में बहुत केमिकल होते हैं।
🍒 सोयाबीन बड़ी को 2 घण्टे भिगो कर, मसल कर ज़हरीली झाग निकल कर ही प्रयोग करें।
🥑 रसोई में एग्जास्ट फैन जरूरी है, प्रदूषित हवा बाहर करें।
🍎 काम करते समय स्वयं को अच्छा लगने वाला संगीत चलाएं। खाने में अच्छा प्रभाव आएगा और थकान कम होगी।
🍍 देसी गाय के घी का प्रयोग बढ़ाएं। अनेक रोग दूर होंगे, वजन नहीं बढ़ता।
🍂 ज्यादा से ज्यादा मीठा नीम/कढ़ी पत्ता खाने की चीजों में डालें, सभी का स्वास्थ्य ठीक करेगा।
🌶 ज्यादा चीजें लोहे की कढ़ाई में ही बनाएं। आयरन की कमी किसी को नहीं होगी।
🍌 भोजन का समय निश्चित करें, पेट ठीक रहेगा।
भोजन के बीच बात न करें, भोजन ज्यादा पोषण देगा।
🧀 नाश्ते में अंकुरित अन्न शामिल करें। पोषक विटामिन, फाइबर मिलेंगें।
🍓 सुबह के खाने के साथ ताजा दही लें, पेट ठीक रहेगा।
🥒 चीनी कम से कम प्रयोग करें, ज्यादा उम्र में हड्डियां ठीक रहेंगी।
🥝 चीनी की जगह बिना मसले का गुड़ या देशी शक्कर लें।
🍳 छौंक में राई के साथ कलौंजी का भी प्रयोग करें, फायदे इतने कि लिख ही नहीं सकते।
☕ चाय के समय, आयुर्वेदिक पेय की आदत बनाएं व निरोग रहेंगे।
🛢 डस्ट बिन एक रसोई में एक बाहर रखें, सोने से पहले रसोई का कचरा बाहर के डस्ट बिन में डालें।
🥗 रसोई में घुसते ही नाक में घी या सरसों तेल लगाएं, सर और फेफड़े स्वस्थ रहेंगें।
🥕 करेले, मैथी, मूली याने कड़वी सब्जियां भी खाएँ, रक्त शुद्ध रहेगा।
🍋 पानी मटके वाले से ज्यादा ठंडा न पिएं, पाचन व दांत ठीक रहेंगे।
🍊 रसोई में घुसते ही थोड़े ड्राई फ्रूट (काजू की जगह तरबूज के बीज) खायें, एनर्जी बनी रहेगी।
🍐 प्लास्टिक, एल्युमिनियम रसोई से हटाये, केन्सर कारक हैं।
🍏 माइक्रोवेव ओवन का प्रयोग केन्सर कारक है।
🍉 खाने की ठंडी चीजें कम से कम खाएँ, पेट और दांत को खराब करती हैं।
🍇 बाहर का खाना बहुत हानिकारक है, खाने से सम्बंधित ग्रुप से जुड़कर सब घर पर ही बनाएं।
🍑 तली चीजें छोड़ें, वजन, पेट, एसिडिटी ठीक रहेंगी।
🥕 मैदा, बेसन, छौले, राजमां, उड़द कम खाएँ, गैस की समस्या से बचेंगे।
🥒 अदरक, अजवायन का प्रयोग बढ़ाएं, गैस और शरीर के दर्द कम होंगे।
🧀 बिना कलौंजी वाला अचार हानिकारक होता है।
🍹 पानी का फिल्टर R O वाला नहीं, हानिकारक है।
U V वाला ही प्रयोग करें, सस्ता भी और बढ़िया भी।
🍑  रसोई में ही बहुत से कॉस्मेटिक्स हैं, इस प्रकार के ग्रुप से जानकारी लें।
🍫 रात को आधा चम्मच त्रिफला एक कप पानी में डाल कर रखें, सुबह कपड़े से छान कर eye wash cup में डाल कर आंखें धोएं, चश्मा उतर जाएगा। छान कर जो पाउडर बचे उसे फिर एक गिलास पानी में डाल कर रख दें। रात को पी जाएं। पेट साफ होगा, कोई रोग एक साल में नहीं रहेगा।
🍆.सुबह रसोई में चप्पल न पहनें, शुद्धता भी, एक्यू प्रेशर भी।
🍌 रात का भिगोया आधा चम्मच कच्चा जीरा सुबह खाली पेट चबा कर वही पानी पिएं, एसिडिटी खतम।
🍆 एक्यू प्रेशर वाले पिरामिड प्लेटफार्म पर खड़े होकर खाना बनाने की आदत बना लें तो भी सब बीमारी शरीर से निकल जायेगी।
🍈 चौथाई चम्मच दालचीनी का कुल उपयोग दिन भर में किसी भी रूप में करने पर निरोगता अवश्य होगी।
🍯 रसोई के मसालों से बना चाय मसाला स्वास्थ्यवर्धक है।
🍑 सर्दियों में नाखून बराबर जावित्री कभी चूसने से सर्दी के असर से बचाव होगा।
🌶 सर्दी में बाहर जाते समय, 2 चुटकी अजवायन मुहं में रखकर निकलिए, सर्दी से नुकसान नहीं होगा।
🍩  रस निकले नीबू के चौथाई टुकड़े में जरा सी हल्दी, नमक, फिटकरी रखकर दांत मलने से दांतों का कोई भी रोग नहीं रहेगा।
🌯 कभी कभी नमक में, हल्दी में 2 बून्द सरसों का तेल डाल कर दांतों को उंगली से साफ करें, दांतों का कोई रोग टिक नहीं सकता।
🍑 बुखार में 1 लीटर पानी उबाल कर 250 ml कर लें, साधारण ताप पर आ जाने पर रोगी को थोड़ा थोड़ा दें, दवा का काम करेगा।
🍐 सुबह के खाने के साथ घर का जमाया ताजा दही जरूर शामिल करें, प्रोबायोटिक है।

🥝 सूरज डूबने के बाद दही या दही से बनी कोई चीज न खाएं, ज्यादा उम्र में दमा हो सकता है।
🍛 दहीबड़े सिर्फ मूंग की दाल के बनने चहिये, उड़द के नुकसान करते हैं।

⬆👆💯% 👆 *ये आर्टिकल / संदेश सत्य हैं कृपया पढे ,और अपनाए , आचरण में लाए ,स्वस्थ रहे और अपने सभी मित्रों को पॉस्ट भेजे.*

☝मानव सेवा ही प्रभु सेवा हैं...🙏

मंगलवार, 17 जुलाई 2018

  खांसी, कफ इन्फेक्शन, पुरानी खांसी तथा कुकुर खांसी    ✍🏻🌹

🌹✍🏻   खांसी, कफ इन्फेक्शन, पुरानी खांसी तथा कुकुर खांसी    ✍🏻🌹

जासु कृपा कर मिटत सब आधि,व्याधि अपार

तिह प्रभु दीन दयाल को बंदहु बारम्बार

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खांसी, कफ इन्फेक्शन, पुरानी खांसी तथा कुकुर खांसी पर अनुभूत योग
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अक्सर कितने ही इलाज व दवाइयां खाने के बाद भी कुछ लोगों की खांसी कम होने का नाम नहीं लेती कम रोग प्रतिकारक शक्ति, किसी दवाई के साइड इफेक्ट, क्षतिग्रस्त फेफड़े, एलर्जी, धूम्रपान, तथा इन्फेक्शन जैसे कई कारण इसके पीछे हो सकते हैं पुरानी खांसी ना सिर्फ असाध्य होती है लेकिन कष्टदायक भी होती है-

कई बार खास्ते खास्ते रोगी के छाती पीठ व पेट दुखने लगता है और रोगी थकान महसूस करने लगता हैं तथा कफ कि वजह से रोगी अरुचि महसूस करता है तथा धीरे-धीरे रोगी कमजोर होने लगता है ऐसे में आज हम जो नुस्खा आपको बताने वाले हैं यह बहुत अनुभुत तथा अकसीर है-

खासकर के छोटे बच्चों की खांसी या कुकुर खासी में यह बेहद चमत्कारिक लाभ देने वाले नुस्खों में से एक है बच्चों को जब कुकुर खांसी (Whooping cough) हो जाती है तो बच्चे काफी देर तक खांसते रहते हैं व खांसते खांसते उनका दम घुटने लगता है आंखें लाल हो जाती है कई बार बच्चों को व खांसते खांसते उल्टी होने लगती है इससे बच्चों को काफी कष्ट होता है बच्चे हमेशा रोते व चिड़चिडे रहते हैं और उनका यह हाल देखा नहीं जाता ऐसे में यह नुस्खा बेहद लाभदायक है-

यह नुस्खा हमें मुंबई के जड़ी-बूटी शिविर में पिपरिया से आए हुए एक बुजुर्ग वैदजी ने लोक कल्याण हेतु बताया था यह उनका वर्षों से अनुभूत योग है तथा हमारा भी अब अनुभूत योग है-

यह नुस्खा बनाने में बेहद सरल, ससता, निरापद तथा अत्यंत लाभदायक है जिसे कोई भी आसानी से बना कर प्रयोग कर सकता है लोगों को एलोपैथिक दवाई लेकर भी ठीक ना होते हुए देखकर तथा लोगों का ऊर्जा तथा धन व्यय देखकर हमें अत्यंत दुख होता है और इसीलिए आज हम यह नुस्खा लोक कल्याण हेतु यहां लिख रहे हैं-

खांसी-कफ इन्फेक्शन-पुरानी खांसी तथा कुकुर खांसी (whooping cough) पर अनुभूत योग-

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सामग्री-
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कच्ची फिटकरी (Elm) का चूर्ण- 100 ग्राम
सोमलता (Ephedrine) का चूर्ण- 50 ग्राम

बनाने की विधि-
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दोनों चूर्णों को मिलाकर कपड़छन कर कर अच्छे से खरल में घोंट कर मिलाकर रख लें-पुरानी खांसी व कुकुर खांसी (whooping cough), की अवस्था में यह प्रयोग करने से 10 से 15 दिन में आराम हो जाता है-

मात्रा-
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1 से 2 वर्ष के बालक को 2 रत्ती
5 से 6 वर्ष तक के बालक को 3 से 5 रत्ती
बड़े बालों को को 7 से 10 रत्ती-तथा बड़ी उम्र की व्यक्तियों को 10 से 15 रत्ती तक दिन में तीन बार देवें

अनुपान-
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यह योग आप गर्म पानी अथवा शहद में मिलाकर ले सकते हैं छोटे बालों को को उनके उम्र के हिसाब से इस नुस्खे की मात्रा एक चम्मच शहद में अच्छे से मिलाकर चटा देने से 15 दिन में संपूर्ण लाभ हो जाता है-

यह नुस्खा कुत्ता खासी (whooping cough), पुरानी खांसी, कफ इन्फेक्शन (cough infection), अस्थमा, ब्रोंकैटीस (Bronchitis) छाती का भारीपन बढ़ा हुआ ESR (Eosinophilia) जैसी समस्याओं में भी बेहद लाभदायक है यह नुस्खा संपूर्ण निराप्रद है तथा इसे लेने से एलोपैथिक सिरप की तरह नींद नहीं आती और ना ही अन्य कोई साइड इफेक्ट होते हैं-

विशेष टिप-
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खांसी में गेंदे के फूल (Marigold flower) की सारी पंखुड़िया तोड़ कर रात को एक लिटर पानी में भिगो दे सुबह यह पानी पूरे दिन पिए इस प्रयोग से ना सिर्फ खांसी में आराम मिलता हैं बल्कि फेफड़ो को भी शक्ति मिलती हैं तथा जमा हुआ कफ आसानी से निसारण हो जाता हैं-छोटे बच्चो में यह दोनों प्रयोग अवश्य आजमाने चाहिए
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गुरुवेंद्र सिंह शाक्य
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सोमवार, 16 जुलाई 2018

 गन्धर्व हरीतकी क्या है कैसे बनायें

🌹✍🏻   गन्धर्व हरीतकी क्या है कैसे बनायें   ✍🏻🌹

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तिह प्रभु दीन दयाल को बंदहु बारम्बार

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गन्धर्व हरीतकी क्या है कैसे बनायें
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हरीतकी (Haritaki) उत्तम टॉनिक होने के साथ-साथ रेचक भी है यह आपके पेट के सभी रोगों में रामबाण है ये आपके लिए कब्ज, पेट दर्द, आफरा, गैस, बदहजमी, लिवर की तकलीफे तथा पाइल्स में यह बेहतरीन औषधि साबित होती है आचार्य भावमिश्र जी अपने भावप्रकाश का आरंभ हरीतकी से करते है-

गन्धर्व हरीतकी (Gandharva Haritaki) क्या है कैसे बनायें-
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आयुर्वेद के ऋषियों ने लिखा है-

    यस्य माता गृहे नास्ति, तस्य माता हरीतकी ।
    कदाचिद् कुप्यते माता, नोदरस्था हरीतकी ॥

भावार्थ-

जिन मनुष्यों के घर माँ नहीं है हरीतकी उनकी माँ समान हित करने वाली है माता तो कभी-कभी नाराज़ भी हो जाती है परन्तु खायी हुई हरड़ कभी भी अपकारी नहीं होती है-

जिसके घर मे माता नहीं है उसकी माता हरीतकी है कभी माता भी कुपित (गुस्सा) हो जाती है परंतु पेट मे गई हुई हरीतकी (हरड़) कुपित नहीं होती है आयुर्वेद के सबसे पुराने व प्रतिष्ठित ग्रंथ चरक संहिता मे महर्षि पुनर्वसु आत्रेय जो औषधि लिखी है उसमे सबसे पहली औषधि हरितकी लिखी है-

आज हम आपको शास्त्रोक्त आयुर्वेद का एक ऐसा ही योग बनाना सीखा रहे है जो कि एक मृदु विरेचन है और पेट के समस्त रोगों तथा अजीर्ण, फ़टी एडिया, मुँह के छाले, जोड़ो के दर्द, कमर दर्द, एड़ी के दर्द, पाइल्स, फिशर और मस्सों पर अधिक लाभदायक है-

इस योग की विशेषता यह है कि यह वात विकार को संतुलित करता है आयुर्वेद के हिसाब से बड़ी आंत वायु शथल है जब वायू कुपित होता है तब बड़ी आंत में ड्रायनेस बढ़ जाती है जिससे जोड़ो के दर्द तथा पाइल्स ओर फिशर फिस्टुला जैसी बीमारी होती है तब यह योग पेट की गंदगी निकालता है और आपके आंतो की सफाई भी करता है ये पेट की गर्मी निकालता है आंतो को अंदर से नरम और इलास्टिसिटी को भी बरकरार रखता है-

गन्धर्व हरीतकी (Gandharva Haritaki) बनाने की विधि-
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बाल हरड़ या छोटी हरड़- 200 ग्राम
एरंडी का तेल- 250 ग्राम

सबसे पहले आप एरंडी के तेल में 5-6 छोटी हरड़ डालकर तल लें चूँकि तले जाने पर हरड़ फूल कर दुगनी हो जाएगी तब इसे कड़ाही से निकाल लें और ऐसे ही सारी हरड़ तल लें तथा अब ठन्ड़ी होने पर मिक्सर में पीस ले अब आप साथ मे 15 ग्राम सेंधा नमक और 15 ग्राम पिपली चूर्ण मिलाए ये आपका गन्धर्व हरीतकी चूर्ण तैयार हो गया है-

कैसे सेवन करें-
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आप इसे रोज रातको सोने से पहले 1-1 चम्मच गर्म पानी से ले।

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गुरुवेंद्र सिंह शाक्य
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नमस्कार दोस्तों  कुछ दवाये जो हम शर्तिया देते है
उनके लिए आप संपर्क कर सकते है

              (((( (((((((((( शुगर))))))))))))))

  जो लोग शुगर की दवा खाते खाते परेशान हो गए हो बो एक बार मेरी दवा प्रयोग कर के देखे दवा का कोर्स पूरा करते है आपको जिंदगी फिर कभी शुगर की दवा लेने की जरूरत नही पड़ेगी और शुगर के कारण शरीर में जो समस्याये आयी है जैसे किडनी में संमस्या , सेक्स संमस्या ,आँखों में संमस्या , जॉइंट संमस्या , पसीना ,पेसाव का अधिक आना थकान और भी जो संमस्या आयी होगी सभी इस दवा से ठीक होगी किसी और दवा की जरूरत नही होगी

संपर्क करे - 9466623519

    ((((((((((((पथरी )))))))))))))

पथरी के लिए आपरेशन क्यों पथरी चाहे पित्त की थैली यानी गॉलब्लेडर की  हो या किडनी की आप मेरी दवा प्रयोग करा के देखे । आपकी पथरी निकल जायेगी
     पित्त की थैली निकलवाने की सोचने बाले पित्त की थैली जो लोग निकलवा चुके है उनसे जरूर पूछ ले की कितनी संमस्या जिंदगी में आती है
   बाकी आप सब समझदार है ।
संपर्क करे - 9466623519

         आँखों की रौशनी के लिए ड्रॉप मिलता है
जॉइंट पैन की दवा भी उपलब्ध है

लिकोरिया कितनी ही पुरानी हो बिलकुल ठीक हो जायेगी गारंटी के साथ

हाइड्रोशील की दवा गारंटी से मिलती है

कब्ज , गैस , के लिए भी दवाये उपलब्ध है जिसे चाहिए संपर्क करे - 9466623519

जिन लोगो का पारिवारिक जीवन सही से न चल पा रहा हो सेक्स संमस्या हो बो लोग निसंकोच संपर्क करे 9466623519

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सोमवार, 9 जुलाई 2018

     पुरानी आव या आंतों की सूजन(कोलाइटिस)  

🌹✍🏻     पुरानी आव या आंतों की सूजन(कोलाइटिस)   ✍🏻🌹

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पुरानी आव या आंतों की सूजन(कोलाइटिस)का उपचार-

सामग्री-

बेल का गूदा-           100 ग्राम
सौंफ-                     100 ग्राम
इसबग़ोल की भूसी- 100 ग्राम
छोटी इलायची-         10 ग्राम

आप इन उपर लिखी चारों चीजों का कूट पीसकर दरदरा चूर्ण बना लें तथा फिर उसमें 300 ग्राम देसी खाँड़ या बूरा मिलाकर किसी काँच की शीशी में सुरक्षित रख लें-

उपयोग की विधि-

आप लगभग दस ग्राम दवा सुबह नाश्ता के पहले ताजा पानी के साथ लें और शाम को खाना खाने के बाद दस ग्राम दवा गुनगुने जल के साथ या दूध के साथ लें (यदि आवश्यकता समझे तो दोपहर को भी दवा खाना खाने के बाद ताजा जल से दवा खा सकते है)एक सप्ताह के बाद फायदा अवश्य होगा लेकिन करीब 45 दिन दवा खाकर छोड़ दें-यह दवा पेट के मल को साफ करेगी और पुरानी आव या आंतों को सूजन (कोलाइटिस) जड़ से साफ कर देगी-

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बुधवार, 17 जनवरी 2018

भस्मो के प्रयोग

🌹✍🏻     भस्मो के प्रयोग        ✍🏻🌹

जासु कृपा कर मिटत सब आधि,व्याधि अपार

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विविध भस्मों के अनुभूत घरेलू प्रयोग

ऐसा कहा जाता हें की राख या भस्म सृष्टि के पञ्च तत्वों का सार हें और इसीलिए भगवान् शिव ने इसे अपने अंगो पर धारण किया है राख, विभूति या उदी कही जाने वाली भस्म को बहुत ही धार्मिक व औषधीय महत्व प्राप्त है जिस भी पदार्थ की जब भस्म बनाई जाती है तब सारा भाग जल कर जो अवशेष शेष बचते हें उसे ही भस्म कहा जाता हें जो मुख्य स्वरूप में पदार्थ के होने की तुलना में ज्यादा गुणकारी बन जाती है इसीलिए औषधि या जडी-बूटी से बेहद कम मात्रा में उपयोग करने पर भी भस्म उत्तम लाभ देती है-

आयुर्वेद में भस्मो से उपचार की विधि प्राचीन और शाश्त्रोक्त है भस्मे तुरंत असर करने वाली औषधि है लेकिन उचित मात्रा एवं शास्त्रोक्त उपयोग करने पर आयुर्वेदिक भस्मो का उत्तम लाभ प्राप्त होता है आयुर्वेद में धातु, खनिज, जड़ी-बूटियों और रत्नों से भस्म बनाई जाती है जो कई रोगों में चमत्कारिक लाभ करती हें लेकिन आज ह्म आपको हर्बल चिकित्सा में प्रयोग किये जाने वाले भस्मो के कुछ अनुभूत नुस्खे बताएँगे जो आप घर पर आसानी से कर सकते है व स्वास्थ लाभ पा सकते हैं-

कैसे बनाई जाए भस्म-

जिस भी पदार्थ या औषधीय जड़ी बूटी की भस्म बनानी है उसे छोटे-छोटे टुकड़ों में काट लें या कूट ले अब लोहे की कढ़ाई में धीमी आंच पर इसे भून ले भूनकर यह औषधि पहले गुलाबी फिर लाल और फिर काली पड़ने लगे तब तक इसे भूनते रहना है जब औषधि काली पड़ जाए तथा चूर्ण बनने लगे तब इसे किसी पात्र में निकाल लेना है ठंडा होने पर इसे खरल करके अच्छे से चूर्ण बना लेना है तथा सूती कपड़े से छानकर किसी साफ बर्तन में या शीशी में इसे भर लेना है-

विविध भस्मों के अनुभव घरेलू प्रयोग-

1- बरगद के कोमल पत्तों को की भस्म को तिल के तेल में मिलाकर खाज खुजली तथा एक्जिमा पर लगाने से त्वचा रोगों में आराम मिलता है-

2- नारियल की छाल या जटा लेकर उसे धूप में 1 दिन सुखा लें फिर इसे मिट्टी के बर्तन में भूनकर इसकी भस्म बना ले इस भस्म को 3 ग्राम की मात्रा में गाय के मीठे दही के साथ दिन में तीन बार सेवन करने से बवासीर के मस्सों में राहत मिलती है, मस्सों का आकार कम हो जाता है तथा खूनी बवासीर में लाभ मिलता है यह प्रयोग रक्तप्रदर में भी उत्तम लाभ है-

3- आंवले की गुठली या बीज को अच्छे से धो कर सुखा कर उसकी भस्म बनाकर यह भस्म नारियल तेल में खूब खरल करके मरहम जैसा बना ले यह मरहम एक्जिमा दाद खाज खुजली पर लगाने से खाज खुजली की समस्या दूर होती है-

4- मयूर पंख की भस्म को शहद के साथ चाटने से (हीक्का रोग) यानी हिचकी आना बंद होता है एक रत्ती मयूरपंख की भस्म को तीन रत्ती सहद के साथ लेने से श्वास दमा में राहत मिलती है किसी भी ऑपरेशन के बाद होने वाली उल्टी तथा हिचकियों में मयूर पंख की बस उत्तम औषधि है-

5- बरगद के पत्ते साफ करके धुप में अच्छे से सुखा लें उन पत्तों पर अलसी का तेल लगाकर उसे जला कर राख बना ले इस राख को 4 गुना अलसी के तेल में मिलाकर रात को सर में जहां बाल उड़ गए हो या बाल कम हो गए हो वहां लगाकर मालिश करने से झड़े हुए बाल वापस आते हैं तथा बाल झड़ना भी कम हो जाता है-

6- केले के पत्तों को जलाकर भस्म बनाकर यह भस्म 5-5 ग्राम की मात्रा में दिन में तीन बार शहद के साथ चाटने से कुकुर खांसी में राहत मिलती है-

7- बादाम के छिलकों को जलाकर उसकी भस्म बनाकर उस भस्म से दांत मांजने से दांतों की जड़ें मजबूत होती है अगर उसमें हल्दी व सेंधा नमक मिलाया जाए तो पायरीया जैसी समस्याओं में भी लाभ मिलता है-

8- खारीक या खजूर की गुठली को जलाकर उसकी भस्म में कपूर तथा हींग मिलाकर पानी से लेप बना ले यह लेप दाद खाज खुजली पर लगाने से लाभ होता है-

9- आवला को जलाकर उसकी भस्म तिल के तेल में मिलाकर पूरे शरीर की मालिश करने से तथा धूप स्नान करके उसके बाद स्नान करने से शरीर की खुजली तथा त्वचा रोग  मिटते हैं-

10- तूअर के पत्ते या फली को जलाकर भस्म बनाकर दही में मिलाकर लगाने से खरुज तथा दद्रु रोग मिटता है-

11- हल्दी को जलाकर उसकी राख तथा चूने को मिलाकर फोड़े पर लेप करने से फ़ोड़ा फुटकर मवाद जल्दी बाहर निकल जाता है तथा त्वचा पर इसके निशान भी नहीं रहते हैं-

12- चक्रमर्द के बीज को भूनकर उसकी भस्म बनाकर उससे चाय बनाकर पीने से रक्तविकार दूर होते हैं फ़ोड़े, खाज खुजली, कील मुहांसे जैसी समस्या मिटती है-

13- आम के पत्तों की भस्म बनाकर उसे घी के साथ खरल करके मुलायम मलहम जैसा बना लें इसे जले हुए स्थान पर लगाने से तुरंत राहत मिलती है वह जले के निशान भी त्वचा पर नहीं रहते-

14- भुट्टे में से मकई के दाने निकाल कर खाली भुट्टे को जलाकर उसकी भस्म बना लें तथा कपड़छन करके यह भस्म एक-एक  ग्राम की मात्रा में सुबह शाम पानी से लेने दे पथरी का दर्द तथा कष्ट मूत्र जैसी समस्याएं दूर होती है-

15- कुलथी को भूनकर उसकी भस्म बनाकर उस में गुड़ डालकर पीने से पित्त प्रकोप से हुई त्वचा संबंधी तकलीफें दूर होती है-

16- अनार के पत्तों को तथा अनार की छाल को जलाकर राख बना लें इस राख को घी मैं खरल करके मुलायम मरहम बना ले यह मरहम अर्श मस्सो पर बांधने से बवासीर के मस्से दूर होते हैं इस राख को पानी में घोलकर इससे गुदाद्वार साफ करने से भी बवासीर की समस्या में लाभ होता है-

17- एक रोटी जलाकर राख कर लें फिर आधे गिलास पानी में डाल दें रोटी घुल जायेगी तब उसका ऊपर ऊपर का पानी पिला दें यह उलटी की रामबाण दवा है-

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🌳🕉🌺महिला संजीवनी 🌺🕉🌳
गुरुवेंद्र सिंह शाक्य
जिला -एटा , उत्तर प्रदेश
9466623519
🌳🕉🌺संजीवनी परिवार 🌺🕉🌳
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